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रांची/डेस्क: महिला पर्यवेक्षिकाओं की नियुक्ति मामले में सुनवाई पूरी हो गयी है. झारखंड हाई कोर्ट ने फैसला सुरक्षित रख लिया है. कोर्ट तय करेगा कि महिला पर्यवेक्षक का पद महिला संवर्ग के लिए होगा या नहीं. कोर्ट ने अगले आदेश तक नियुक्तियों पर रोक बरकरार रखी है. सुनवाई के दौरान महाधिवक्ता राजीव रंजन ने अदालत को बताया कि पर्यवेक्षक की नियुक्ति केवल महिला संवर्ग के लिए है. इस पद के लिए एक लक्ष्य समूह बनाया गया है. एक गर्भवती महिला और एक नवजात शिशु को जन्म देने वाली महिला।
महिला पर्यवेक्षक केवल महिलाओं से ही जुड़ी होती है। इसलिए यह पद केवल महिलाओं के लिए बनाया गया है। प्रार्थी की ओर से कोर्ट को बताया गया कि किसी भी वर्ग को 100 फीसदी आरक्षण नहीं दिया जा सकता. इसमें केवल महिलाओं से ही आवेदन आमंत्रित किये गये हैं. जेएसएससी ने बाल कल्याण विभाग में महिला पर्यवेक्षक के 421 पदों पर नियुक्ति के लिए विज्ञापन जारी किया था. इस परीक्षा में आवेदक भी शामिल हुए, लेकिन आयोग ने यह कहते हुए अभ्यर्थियों का चयन नहीं किया कि उनकी शैक्षणिक योग्यता विज्ञापन की शर्तों के अनुरूप नहीं है. उम्मीदवारों के पास विज्ञापन में निर्धारित मुख्य विषय के बजाय सहायक विषयों में डिग्री है।
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