मीरजापुर। उत्तर प्रदेश में मिर्ज़ापुर जिले के बरौधा स्वास्थ्य केंद्र के स्वास्थ्य कर्मियों की लापरवाही के चलते एक गर्भवती महिला द्वारा कीचड़ से सनी जमीन पर बेटी को जन्म देने का मामला गरमा गया है. जिलाधिकारी पवन कुमार गंगवार ने घटना का संज्ञान लिया है. जिलाधिकारी ने सीएमओ को 24 घंटे के अंदर जांच कर रिपोर्ट देने का आदेश दिया है.
मालूम हो कि जिले के लालगंज क्षेत्र के बरौधा स्वास्थ्य केंद्र पर 102 एंबुलेंस सेवा के पायलट और ईएमटी की लापरवाही के कारण सोमवार की रात करीब 11 बजे एक गर्भवती महिला ने अस्पताल परिसर के बाहर कीचड़ भरी जमीन पर बेटी को जन्म दिया. गर्भवती महिला के पति ने काम में लापरवाही बरतने वाले एंबुलेंस कर्मियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है, जिसका वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है.
लालगंज थाना क्षेत्र के कोठी खुर्द गांव निवासी अरवी बानो की पत्नी अरवी बानो को सोमवार की रात प्रसव पीड़ा शुरू होने पर उनके पति अतीक अहमद ने 102 एंबुलेंस सेवा को फोन किया तो 102 एंबुलेंस घर पहुंची और गर्भवती महिला को लेकर न्यू पीएचसी बरौंधा के लिए रवाना हुई। गर्भवती महिला के पति अतीक अहमद का आरोप है कि एंबुलेंस कर्मियों ने गर्भवती पत्नी को डेढ़ घंटे में अस्पताल पहुंचा दिया, जबकि दूरी के हिसाब से आधे घंटे में अस्पताल पहुंचना चाहिए था.
प्रसव पीड़ा से जूझ रही पत्नी को गंभीर हालत में एंबुलेंस कर्मियों ने न्यू पीएचसी बरौंधा के गेट के सामने नेशनल हाईवे पर छोड़ दिया। पत्नी को अस्पताल के अंदर ले जाते समय अस्पताल परिसर के सामने जमीन पर कीचड़ में ही पत्नी ने बेटी को जन्म दे दिया. अस्पताल के बाहर जमीन पर प्रसव होने की जानकारी होने पर अस्पताल में कार्यरत स्वास्थ्य कर्मियों ने तुरंत जच्चा-बच्चा को अस्पताल में भर्ती कराया।
इस संबंध में प्रभारी चिकित्साधिकारी हलिया डॉ.अवधेश कुमार ने बताया कि लापरवाही की घटना सामने आई है। कर्मचारी के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। उधर, जिलाधिकारी ने मामले को गंभीरता से लिया है. बुधवार को पत्रकारों को बताया कि जांच सीएमओ को सौंप दी गई है। वह 24 घंटे के अंदर रिपोर्ट देंगे. उन्होंने कहा कि दोषी कर्मचारी के खिलाफ कार्रवाई की जायेगी. जिलाधिकारी ने घटना को अमानवीय बताया.
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