बाराबंकी, लोकजनता। करीब 16 दिन पहले पेट्रोल पंप पर ई-रिक्शा चार्जिंग के विवाद में हुई मारपीट और फायरिंग की घटना में नया मोड़ आ गया है। पुलिस पर सुनवाई न करने का आरोप लगाते हुए पंप मालिक के भतीजे ने कोर्ट की शरण ली। कोर्ट के आदेश पर अब एक दर्जन से अधिक लोगों के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज की गई है।
बता दें कि 28 अक्टूबर की रात लोनीकटरा थाना क्षेत्र के सुल्तानपुर रोड स्थित बालाजी फिलिंग स्टेशन पर रंगदारी के विवाद को लेकर हमला, तोड़फोड़ और लूटपाट की घटना हुई थी। पंप मालिक वीरेंद्र शुक्ला के भतीजे अमित शुक्ला ने अदालत का दरवाजा खटखटाया और कहा कि जब से उनके चाचा वीरेंद्र शुक्ला ने एक साल पहले पेट्रोल पंप खोला था, तब से रामपुर कटरा निवासी लवकुश द्विवेदी रंगदारी मांग रहे थे।
28 अक्टूबर की रात लवकुश अपने साथियों दीपचंद्र, सतीशचंद्र, विनय कुमार व अज्ञात लोगों के साथ पंप पर पहुंच कर ई-रिक्शा चार्जिंग की मांग करने लगा। कर्मचारियों ने मना किया तो आरोपियों ने मारपीट शुरू कर दी और अन्य लोगों को बुला लिया।
आधी रात को पंप संचालक और उसका भतीजा शशांक मौके पर पहुंचे तो वहां भारी तोड़फोड़ की गई थी। इस बीच बदमाशों ने काउंटर से करीब ढाई लाख रुपये नकद, एक सोने की चेन और तीन अंगूठियां लूट लीं। विरोध करने पर संचालक पर रॉड, धारदार हथियार व हथियार से हमला कर दिया, जिससे वीरेंद्र का सिर फट गया और हाथ टूट गया. हमलावरों ने शशांक शुक्ला और ड्राइवर रितिक के साथ भी मारपीट की और हथियार लहराते हुए और जान से मारने की धमकी देते हुए मौके से भाग गए। घटना के बाद क्रॉस केस कराए जाने के बावजूद उसकी रिपोर्ट दर्ज नहीं की गई।



