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Sunday, October 19, 2025
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मौसम में बदलाव से लोग बीमार पड़ने लगे…सरकारी अस्पतालों में बड़ी संख्या में वायरल फीवर, बचने के लिए रखें इन बातों का ध्यान

लखनऊ, लोकजनता: मौसम में बदलाव का असर लोगों की सेहत पर पड़ रहा है। दिन में गर्मी और रात में हल्की ठंड के कारण लोग खांसी, जुकाम और वायरल बुखार की चपेट में आ रहे हैं। पिछले दिनों हुई बारिश के बाद जलजमाव के कारण मच्छरों का प्रकोप बढ़ गया है। इसके चलते लोग मच्छर जनित बीमारियों का भी शिकार हो रहे हैं। गंदे इलाकों में पेट दर्द, उल्टी और दस्त की शिकायतें भी बढ़ी हैं. बलरामपुर, सिविल और लोकबंधु समेत शहर के अन्य सरकारी अस्पतालों में ऐसे मरीजों की संख्या तेजी से बढ़ी है। डॉक्टर इलाज में सावधानी बरतने की सलाह दे रहे हैं।

बलरामपुर अस्पताल के सीएमएस डॉ.हिमांशु चतुर्वेदी ने बताया कि इस समय रोजाना 200 से ज्यादा बुखार के मरीज आ रहे हैं. इनमें से 20-25 गंभीर मरीजों को भर्ती करना पड़ता है। डॉ. हिमांशु के मुताबिक मौसम में बदलाव से शरीर के तापमान में बदलाव और रोग प्रतिरोधक क्षमता में कमी आती है। सुरक्षा के लिए साफ-सफाई का विशेष ध्यान रखना जरूरी है। बच्चों का भी खास ख्याल रखने की जरूरत है.

लोकबंधु अस्पताल के सीएमएस डॉ. राजीव दीक्षित के मुताबिक, पिछले कुछ दिनों से वायरल संक्रमण से पीड़ित मरीजों की संख्या बढ़ी है। डॉक्टर इलाज के साथ-साथ बचाव के प्रति भी जागरूक कर रहे हैं। डॉक्टर की सलाह के बिना एंटीबायोटिक्स न लें। इसके अलावा ठाकुरगंज संयुक्त चिकित्सालय, रानी लक्ष्मीबाई, भाऊराव देवरस और बीकेटी के रामसागर मिश्र संयुक्त चिकित्सालय समेत सीएचसी और पीएचसी पर भी वायरल संक्रमण के मरीज आ रहे हैं। सीएमओ डॉ. एनबी सिंह का कहना है कि सभी स्वास्थ्य केंद्रों पर आवश्यक दवाएं उपलब्ध करा दी गई हैं।

सांस के मरीज भी बढ़े

केजीएमयू के रेस्पिरेटरी मेडिसिन विभाग के प्रमुख डॉ. सूर्यकांत ने बताया कि मौसम में बदलाव के कारण सबसे ज्यादा परेशानी सांस के मरीजों को होती है। अस्थमा और एलर्जी के मरीजों में समस्या कई गुना बढ़ जाती है। ओपीडी में 30-40 फीसदी मरीज इन्हीं समस्याओं के साथ आ रहे हैं। जिन मरीजों को आराम नहीं मिल रहा है उनकी खुराक में बदलाव किया जा रहा है। डॉ. सूर्यकांत ने कहा कि जो सांस के मरीज पहले से दवा ले रहे हैं और आराम नहीं मिल रहा है, उन्हें एक बार अपने डॉक्टर से सलाह लेकर खुराक बदलवा लेनी चाहिए। मौसम में बदलाव और समस्या के आधार पर खुराक को कई बार बढ़ाना पड़ सकता है। लोहिया संस्थान के रेस्पिरेटरी मेडिसिन विभाग के प्रमुख डॉ. अजय वर्मा ने बताया कि इस समय एक्यूट रेस्पिरेटरी अटैक के कारण मरीजों की संख्या बढ़ जाती है। बदलते मौसम में सांस के रोगियों और बुजुर्गों को विशेष ध्यान रखना चाहिए।

वायरल बुखार के लक्षण

– गले में खराश और कंपकंपी होना
– खांसी, जुकाम, तेज बुखार
-थकान, जोड़ों का दर्द, मांसपेशियों में दर्द
– सिर और गले में दर्द, आंखें लाल होना

ऐसे करें अपनी सुरक्षा

– गुनगुना पानी पिएं।
– ठंड से अपना बचाव करें।
– एसी में न रहें।
– धूल और धुएं से बचाएं.
– मास्क पहनकर बाहर निकलें।
– समस्या होने पर डॉक्टर से सलाह लें।

इस मौसम में मच्छर जनित बीमारियों का खतरा बढ़ जाता है। इसके लिए स्वास्थ्य विभाग ने नगर निगम के सहयोग से पांच अक्टूबर से विशेष संचारी रोग नियंत्रण अभियान और 11 अक्टूबर से दस्तक अभियान शुरू किया है। 31 अक्टूबर तक चलने वाले इन अभियानों के जरिए लोगों को बीमारियों से बचाव के प्रति जागरूक किया जाएगा। बीमार लोगों का इलाज सुनिश्चित किया जा रहा है. सफाई, फॉगिंग और एंटीलार्वा का छिड़काव भी कराया जा रहा है।- डॉ. एनबी सिंह, सीएमओ

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