बिहार विधानसभा चुनाव 2025 में एनडीए ने प्रचंड जीत दर्ज की है, जबकि महागठबंधन को करारी हार का सामना करना पड़ा है. इस बीच सबसे चर्चित मुकाबला लालू परिवार के बड़े बेटे की सीट महुआ विधानसभा सीट पर देखने को मिला तेज प्रताप यादव बुरी तरह हारे।।
एलजेपी (रामविलास) उम्मीदवार संजय कुमार सिंह ने ना सिर्फ तेज प्रताप यादव को हराया बल्कि उन्हें उतने वोट भी नहीं मिले जितने संजय सिंह चुनाव जीते थे. इस नतीजे को एनडीए के लिए बड़ी उपलब्धि माना जा रहा है.
महुआ सीट पर त्रिकोणीय मुकाबला- लेकिन जीत एकतरफा
महुआ विधानसभा में मुकाबला दिलचस्प रहा.
- एनडीए से एलजेपी(आरए) उम्मीदवार संजय कुमार सिंह मैदान में थे.
- महागठबंधन से मौजूदा विधायक मुकेश कुमार रौशन अपनी सीट बचाने की कोशिश कर रहे थे.
- वहीं लालू प्रसाद यादव के बड़े बेटे तेज प्रताप यादव परिवार और पार्टी दोनों से अलग होने के कारण जनशक्ति ने जनता दल के टिकट पर उन्हें मैदान में उतारा था.
लेकिन जब नतीजे आए तो महुआ सीट पर तस्वीर साफ हो गई-एलजेपी(आरए) यह सीट ले ली राजद से छीन लिया।।
संजय कुमार सिंह की ऐतिहासिक जीत- तेज प्रताप बुरी तरह पिछड़ गए
प्राप्त आंकड़ों के अनुसार:
- संजय कुमार सिंह (लोजपा-रा):87,641 वोट
- मुकेश कुमार रोशन (राजद):42,644 वोट
- तेज प्रताप यादव: 35,703 वोट
यानी संजय सिंह 44997 वोटों से जीते.
दिलचस्प तो यह है संजय सिंह जितने वोट जीते उतने वोट तेज प्रताप यादव को नहीं मिल सके.
इस नतीजे को लालू परिवार के लिए बड़ा झटका माना जा रहा है.
एलजेपी (रा) विधायक को बड़ी जिम्मेदारी मिलने की उम्मीद
संजय सिंह की इस बड़ी जीत के बाद राजनीतिक गलियारों में चर्चा है कि
क्या तेज प्रताप यादव को हराने वाले इस एलजेपी विधायक को एनडीए सरकार में मिलेगा कोई बड़ा पद?
क्योंकि-
- एनडीए की सरकार बनने जा रही है.
- एलजेपी (रामविलास) का 19 विधायक रहना।
- ऐसा माना जा रहा है कि पार्टी 2-3 मंत्री पद मुलाकात हो सकती है.
ऐसे में यही उम्मीद की जा रही है संजय कुमार सिंह की इस बड़ी जीत पर उन्हें इनाम के तौर पर अहम जिम्मेदारी दी जा सकती है.
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