26.5 C
Aligarh
Sunday, November 16, 2025
26.5 C
Aligarh

पूर्व केंद्रीय मंत्री आरके सिंह ने बीजेपी से दिया इस्तीफा, राष्ट्रीय अध्यक्ष को पत्र लिखकर लगाए गंभीर आरोप. लोकजनता


पटना/दिल्ली: बिहार में एनडीए की प्रचंड जीत के तुरंत बाद भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के भीतर बड़ी राजनीतिक हलचल देखी गई है. पूर्व केंद्रीय गृह राज्य मंत्री और आरा के पूर्व सांसद आरके सिंह रविवार को बीजेपी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दे दिया.

उन्होंने पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष पद से अपना इस्तीफा दे दिया. जेपी नडडा इसे भेजा और निलंबन को लेकर कई गंभीर सवाल उठाए.

आरके सिंह का यह कदम पार्टी द्वारा “पार्टी विरोधी गतिविधियों” के आरोप में निलंबित किए जाने के 24 घंटे बाद आया है।

”पार्टी विरोधी गतिविधि का आरोप क्या लगा, इसकी जानकारी तक नहीं दी गई”-आरके लायन

अपने त्यागपत्र में आरके सिंह ने दावा किया कि उन्हें पार्टी विरोधी गतिविधियों का आरोप लगाते हुए निलंबन पत्र मीडिया के माध्यम से मिला, लेकिन उन्होंने यह स्पष्ट नहीं किया कि वे गतिविधियां क्या थीं।

उन्होने लिखा है-

“मुझे मीडिया के कुछ सदस्यों के माध्यम से एक पत्र मिला जिसमें कहा गया था कि पार्टी ने मुझे पार्टी विरोधी गतिविधियों के लिए निलंबित कर दिया है और पूछा है कि मुझे निष्कासित क्यों नहीं किया जाना चाहिए। लेकिन पत्र में इन कथित गतिविधियों का जिक्र तक नहीं है।”

उन्होंने कहा कि आरोपों को स्पष्ट किये बिना कारण बताओ नोटिस जारी करना पूरी तरह से अनुचित है.

क्या आपराधिक पृष्ठभूमि वाले नेताओं को टिकट देने का विरोध असली वजह है?

आरके सिंह ने अपने पत्र में संकेत दिया कि कारण बताओ नोटिस शायद उनके हालिया बयान के कारण आया है जिसमें उन्होंने बीजेपी और एनडीए में आपराधिक छवि वाले कुछ उम्मीदवारों को टिकट दिए जाने पर सवाल उठाए थे.

उन्होने लिखा है-

“शायद कारण बताओ नोटिस का कारण यह है कि मैंने सार्वजनिक रूप से आपराधिक पृष्ठभूमि वाले लोगों को टिकट देने का विरोध किया था।”

उनका कहना है कि पार्टी के भीतर यह सवाल उठाना ‘पार्टी विरोधी गतिविधि’ माना गया.

सम्राट चौधरी और अनंत सिंह पर भी निशाना साधा था

पिछले कई महीनों से आरके सिंह खुलेआम एनडीए और बीजेपी के शीर्ष नेतृत्व के फैसलों पर अपनी असहमति जताते रहे हैं.

  • वे उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी के खिलाफ कई बयान दिये
  • जेडीयू नेता अनंत सिंह की उम्मीदवारी पर कड़ा विरोध भी जताया
  • चुनाव के दौरान कानून एवं व्यवस्था एवं चुनाव आयोग की भूमिका को लेकर गंभीर सवाल उठाए

बीजेपी के भीतर इसे चल रहा असंतोष और लीक से हटकर चल रही गतिविधि माना जा रहा था.

एनडीए की जीत के अगले दिन मिला निलंबन पत्र

2025 के बिहार विधानसभा चुनाव में एनडीए की ऐतिहासिक जीत के ठीक एक दिन बाद, बीजेपी द्वारा नियुक्त आरके सिंह को निलंबित कर दिया गया।
हालांकि पार्टी नेताओं ने इस पर कोई आधिकारिक टिप्पणी नहीं की, लेकिन इसे अनुशासनात्मक कार्रवाई बताया.

निलंबन से पहले ही राजनीतिक हलचल मची हुई थी, जो अब उनके इस्तीफे से और बड़ी हो गई है.

“मैं औपचारिक रूप से भाजपा छोड़ रहा हूं” – पत्र का अंत

अपने पत्र के अंत में आरके सिंह ने स्पष्ट शब्दों में लिखा-

“मैं भारतीय जनता पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से अपना औपचारिक इस्तीफा देता हूं।”

कभी बीजेपी का भरोसेमंद चेहरा माने जाने वाले और केंद्र की मोदी सरकार में मंत्री रहे आरके. सिंह के इस कदम को पार्टी के लिए बड़ा झटका माना जा रहा है.

राजनीतिक विश्लेषण: इस्तीफा चुनाव के बाद बीजेपी में असंतोष का संकेत?

राजनीतिक हलकों में आरके सिंह के इस कदम को बीजेपी के भीतर बढ़ते अंदरूनी मतभेद का संकेत माना जा रहा है.
एनडीए की प्रचंड जीत के बावजूद पिछले कुछ समय से उम्मीदवार चयन, नेतृत्व शैली और आंतरिक अनुशासन को लेकर कई नेताओं का असंतोष सामने आ रहा है.

अब आरके सिंह का इस्तीफा बीजेपी के लिए नई चुनौती बन सकता है, खासकर बिहार में जहां राजनीतिक समीकरण तेजी से बदल रहे हैं.


व्हाट्सएप चैनल


VOB चैनल से जुड़ें

FOLLOW US

0FansLike
0FollowersFollow
0SubscribersSubscribe
spot_img

Related Stories

आपका शहर
Youtube
Home
News Reel
App