लखनऊ, लोकजनता: चिटफंड कंपनी हीरा गोल्ड एक्जिम घोटाले में उत्तर प्रदेश के लखनऊ में पहली रिपोर्ट दर्ज हो गई है. गोमतीनगर निवासी एक व्यक्ति ने कंपनी के सीईओ नौहेरा नन्नेसाहेब शेख पर 15 लाख रुपये की धोखाधड़ी का आरोप लगाया है। आरोप है कि सोने में निवेश पर 36 फीसदी रिटर्न का लालच दिया गया था. कुछ महीने मुनाफा देने के बाद कंपनी ने भुगतान करना बंद कर दिया। एसीपी गोमतीनगर बृज नारायण सिंह के आदेश पर गोमतीनगर पुलिस ने सीईओ के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर ली है।
विश्वखंड-3 निवासी सैयद लारेब अहमद ने बताया कि वर्ष 2016 में उनका संपर्क हीरा गोल्ड एक्जिम प्राइवेट लिमिटेड के सीईओ नौहेरा नन्नेसाहेब शेख से हुआ था। कंपनी की गोल्ड स्कीम में उच्च रिटर्न का दावा करने के बाद उनकी पत्नी आयशा लारेब ने नवंबर 2016 में 5 लाख रुपये का निवेश किया। यह रकम हीरा रिटेल हैदराबाद प्राइवेट लिमिटेड और हीरा ग्रुप एक्जिम के बैंक खातों में ट्रांसफर की गई थी। कंपनी ने 18 अगस्त 2017 से मासिक रिटर्न देना शुरू किया, लेकिन 21 मई 2018 के बाद भुगतान बंद कर दिया।
लारेब ने बताया कि नवंबर 2016 में पत्नी के अलावा उन्होंने भी 10 लाख रुपये का निवेश किया था। उन्हें 6 जनवरी 2017 से मासिक रिटर्न मिला, लेकिन 19 मई 2018 के बाद भुगतान रोक दिया गया। जब दंपति ने सीईओ से मूल राशि वापस मांगी तो देरी हुई। शक हुआ तो जांच की तो पता चला कि कंपनी बंद हो चुकी है।
15 लाख रुपये की धोखाधड़ी की आशंका जताते हुए सैयद लारेब अहमद ने एसीपी से शिकायत की। शुरुआती जांच में आरोप सही पाए जाने पर गोमतीनगर पुलिस ने सीईओ नौहेरा नन्नेसाहब शेख के खिलाफ धोखाधड़ी और गबन की रिपोर्ट दर्ज कर ली है। इंस्पेक्टर ब्रिजेश चंद्र तिवारी के मुताबिक मामले की जांच चल रही है।
5600 करोड़ रुपये का घोटाला
हीरा गोल्ड एक्जिम घोटाले में तेलंगाना, आंध्र प्रदेश, महाराष्ट्र, कर्नाटक और दिल्ली में सैकड़ों मामले दर्ज हैं। कंपनी के CEO पर करीब 5600 करोड़ रुपये के घोटाले का आरोप है. नौहेरा शेख को अक्टूबर 2018 में गिरफ्तार किया गया था। मामले की जांच एसएफआईओ और प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही है।



