पटना. बिहार विधानसभा चुनाव 2025 के दूसरे चरण के लिए मंगलवार (11 नवंबर) को मतदान होना है और उससे पहले चुनावी माहौल काफी गर्म हो गया है. प्रशासन ने तैयारियां तेज कर दी हैं, वहीं प्रत्याशियों की सूची पर नजर डालें तो इस बार भी बाहुबलियों और उनके परिजनों का दबदबा साफ नजर आ रहा है.
चाहे एनडीए हो या महागठबंधन-दोनों गठबंधनों को विवादास्पद छवि वाले उम्मीदवारों को टिकट देने में कोई हिचकिचाहट नहीं हुई।
इस वजह से कई सीटों पर मुकाबला और भी दिलचस्प हो गया है, जहां पुराने राजनीतिक वर्चस्व और जातीय समीकरणों का टकराव साफ नजर आ रहा है.
दूसरे चरण में 122 सीटों पर वोटिंग, आधा दर्जन से ज्यादा दिग्गज मैदान में
दूसरे चरण में 20 जिलों की 122 विधानसभा सीटें लेकिन वोटिंग तो होनी ही है. इनमें से कई सीटों पर ताकतवर नेताओं, उनकी पत्नियों और बेटों के बीच सीधा मुकाबला है. यह न केवल मुकाबले को हाई-प्रोफाइल बनाता है बल्कि मतदाताओं के लिए चुनावी परिदृश्य को भी जटिल बनाता है।
वारसलीगंज: दो बाहुबलियों की पत्नियों के बीच सीधी टक्कर
वारसलीगंज सीट सबसे ज्यादा चर्चा में है.
यहाँ प्रतियोगिता है-
- भाजपा उम्मीदवार अरुणा देवी (बाहुबली अखिलेश सिंह की पत्नी)
- बनाम
- राजद उम्मीदवार अनिता देवी (बाहुबली अशोक महतो की पत्नी)
अरुणा देवी वर्तमान विधायक हैं, जबकि अनिता देवी 2024 में मुंगेर लोकसभा चुनाव लड़ चुकी हैं। अखिलेश सिंह और अशोक महतो के बीच पुरानी प्रतिद्वंद्विता इस सीट को और अधिक संवेदनशील बनाती है।
नवादा: राजबल्लभ यादव की पत्नी विभा देवी बनाम कौशल यादव.
नवादा से जदयू विभा देवी को टिकट दिया गया है, जो बाहुबली राजबल्लभ यादव की पत्नी हैं.
उनका सामना करो कौशल यादव से है।
नाबालिग से जुड़े एक मामले में बरी होने के बाद राजबल्लभ यादव फिर से राजनीति में सक्रिय हो गए हैं.
नबीनगर: आनंद मोहन के बेटे चेतन आनंद मैदान में
नबीनगर सीट पर जेडीयू की जीत आनंद मोहन का बेटा चेतन आनंद को उम्मीदवार बनाया गया है.
उनका मुकाबला राजद से होगा आमोद चंद्रवंशी से है।
चेतन 2020 में राजद के टिकट पर शिवहर से जीते हैं।
बेलागंज: सुरेंद्र यादव का बेटा बनाम बिंदी यादव की पत्नी
बेलागंज में है मुकाबला-
- सुरेंद्र यादव का बेटा विश्वनाथ यादव
- बनाम
- जेडीयू विधायक मनोरमा देवी (बाहुबली बिंदी यादव की पत्नी)
पिछले चुनाव की तरह इस बार भी यह सीट हाईप्रोफाइल है.
मोकामा, बाढ़, दानापुर और कई अन्य सीटों पर कड़ा मुकाबला है
पहले चरण में भी कई सीटें बाहुबलियों की दावेदारी के कारण सुर्खियों में रहीं:
- मोकामा: अनंत सिंह बनाम सूरजभान सिंह की पत्नी वीणा देवी
- बाढ़: लल्लू मुखिया
- दानापुर: रीत लाल यादव
- कुचायकोट: अमरेंद्र पांडे
- रघुनाथपुर: शहाबुद्दीन का बेटा ओसामा
- नाविक: प्रभुनाथ सिंह के पुत्र रणधीर
- बनियापुर: प्रभुनाथ सिंह के भाई केदारनाथ
- ब्रह्मपुर: हुलास पांडे
- तरारी: सुनील पांडे के बेटे हैं
- शाहपुर: बिशेश्वर ओझा के पुत्र राकेश
- लालगंज: मुन्ना शुक्ला की बेटी शिवानी शुक्ला
- एक में: धूमल सिंह
- मटिहानी: बोगो सिंह
- संदेश: अरुण यादव का पुत्र दीपू एवं राधा चरण (बालू माफिया)
इन सीटों पर मुकाबला न केवल राजनीतिक शक्ति का परीक्षण है, बल्कि कई पुराने गिरोहों के संघर्ष और वर्चस्व की लड़ाई में एक नया अध्याय भी है।
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