Bihar Election 2025: पटना. हरनौत से मौजूदा विधायक हरिनारायण सिंह का टिकट कटने से लगातार 10 चुनाव जीतने का रिकार्ड बनने से रह गया. बिहार में अब तक 10 बार बिहार विधानसभा का चुनाव कोई नहीं जीत सका है. लगातार 8 बार चुनाव जीतनेवाले मौजूदा दो विधायकों ने क्लब 9 में शामिल होने के लिए चुनावी मैदान में अपनी दावेदारी पेश कर दी है. भाजपा के प्रेम कुमार और जदयू के बिजेंद्र प्रसाद यादव अगर इस बार चुनाव जीतते हैं तो नौ बार चुनाव जीतनेवाले सदस्यों की सूची में इन दोनों का नाम भी शामिल हो जायेगा.
हरिनारायण सिंह रिकार्ड बनाने से चूके
अब तक बिहार में नौ बार चुनाव जीतने का रिकार्ड केवल तीन लोगों के पास है, जिनमें सदानंद सिंह, रमई राम और हरिनारायण सिंह शामिल हैं. सदानंद सिंह और रमई राम का निधन हो चुका है, ऐसे में माना जा रहा था कि हरिनारायण सिंह 10वीं बार चुनाव लड़ने का रिकार्ड इस बार अपने नाम करेंगे, लेकिन जदयू ने इस बार उनका टिकट काट दिया है. ऐसे में उनका 10 बार लगातार विधायक बनने का सपना पूरा नहीं हो पाया.
दो विधायक रच सकते हैं इतिहास
रिकॉर्ड नौ बार जीतनेवाले लोगों के क्लब में शामिल होने की दहलीज पर ऊर्जा और योजना एवं विकास मंत्री बिजेन्द्र प्रसाद यादव के अलावा सहकारिता मंत्री प्रेम कुमार भी खड़े हैं. इन दोनों को पार्टी ने इस बार भी उम्मीदवार बनाया है. दोनों आठ बार विधानसभा पहुंच चुके हैं. बिजेन्द्र प्रसाद सुपौल से तो प्रेम कुमार वर्ष 1990 से गया से लगातार जीत रहे हैं. दोनों ही 1990, 1995, 2000, 2005 फरवरी, 2005 अक्टूबर, 2010, 2015 और 2020 में जीत दर्ज की है.
मांझी भी आठ जीत चुके हैं चुनाव
केन्द्रीय मंत्री जीतन राम मांझी भी आठ बार विधानसभा चुनाव जीते हैं. वह 1980, 1985, 1996, 2000, 2005 अक्टूबर, 2010, 2015 और 2020 में चुनाव जीते. पिछली बार 2024 में लोकसभा का चुनाव जीतकर केन्द्र में मंत्री हैं. सुरेंद्र प्रसाद यादव भी 2020 में आठवीं बार विधानसभा चुनाव जीते थे. हालांकि 2004 में उन्होंने जहानाबाद से लोकसभा चुनाव जीता. फिलहाल सांसद हैं, लिहाजा विधानसभा का चुनाव नहीं लड़ेंगे.
श्रवण कुमार जीते हैं सात चुनाव
भाजपा के नंद किशोर यादव, राजद के अब्दुल बारी सिद्दिकी और जदयू के श्रवण कुमार सात-सात बार विधानसभा जा चुके हैं. नंदकिशोर को इस बार टिकट नहीं मिला है, जबकि सिद्दीकी और श्रवण कुमार अभी सक्रिय राजनीति में हैं. इस बार चुनाव लड़े तो आठवीं बार विधानसभा पहुंच सकते हैं. सिद्दिकी ने पहली बार 1977 में विधानसभा का चुनाव जीता. इसके बाद वे 2000, 2005 फरवरी, 2005 अक्टूबर, 2010, 2015 में जीते. श्रवण कुमार ने पहली बार 1995 में चुनावी वैतरणी पार की. इसके बादसे लगातार जीत रहे हैं.
विजय चौधरी सातवीं जीत का कर रहे प्रयास
संसदीय व जल संसाधन मंत्री विजय कुमार चौधरी पहली बार 1982 मेंचुनाव जीते. इसके बाद वह 1985, 1990, 2010, 2015 और 2020 में चुनाव जीते. कांग्रेस के विजय शंकर दूबे भी छह बार 1980, 1985, 1990, 2000, 2015 और 2020 में चुनाव जीते हैं. जबकि, कांग्रेस के अवधेश कुमार सिंह भी छह बार विधायक बने. इस बार करीब आधा दर्जन ऐसे नेता चुनावी मैदान में हैं जो आधा दर्जन से अधिक बार चुनाव जीतकर सदन की सदस्यता ग्रहण कर चुके हैं.



